
पूज्य राजन जी महाराज (rajan jee maharaj) मैथिली व भोजपुरी भक्ति गीतों को सुर देने वाले संगीतमय रामकथा वाचक है। प्रेममूर्ति पूज्य संत श्री प्रेमभूषण जी महाराज इनके गुरु है।
“राम नाम में बहुत गहराई है “
जबतक भगवान की कृपा नही होती, तब तक संत का दर्शन दुर्लभ है। और भगवान तब तक कृपा नहीं करते जबतक कोई संत भगवान को कृपा करने के लिये नहीं कहे। जब जीवन मे ज्यादा प्रसन्न हो तो किसी को कोई वचन नहीं देना चाहिए और जब मन में ज्यादा क्रोध हो तो कोई निर्णय नहीं लेना चाहिए क्योंकि दोनों ही स्थिति में नुकसान अपना ही है।क्रोध बोध को समाप्त कर देता है। किसी की चर्चा करने से दोष उजागर हो तो वहां मौन हो जाना ही बेहतर होता है।
पूज्य राजन (pujya rajan ji maharaj ka pravachan) जी महाराज कहते है की आज कल की युवाओं को रामायण को देखना ही नहीं चाहिए, पड़नी चाहिए और उससे अपने जीवन में स्वीकार करना चाहिए। पूज्य राजन जी महाराज की कथा युवा सुनते है। इसलिए महाराज जी के कई सारे युवा भक्त है और कई लोग उन्हें अपना आदर्श मानते है।
पूज्य राजन जी महाराज जो की एक प्रसिद्ध व्यक्ति है वे अपने कथाओं से सब मन मोह लेते है। पूज्य राजन जी महाराज राम जी की कथा करते है। यह अपने कथा के कितने पैसे लेते है, बहुत ही जाज पड़ताल के बाद पता चला की पूज्य राजन जी महाराज अपने कथा और भजनों में लाखो रुपेय लेते है, जो की उनके कथा व्यवस्था में लगते है। ताकि कोई भी वक्त जन को अपने कथा के दौरान कोई कष्ट न हो और वे आराम से अपनी कथा और भजन को आनंद से सुन सके।
लाखो दिलो पर राज करने वाले श्री पूज्य राजन जी महाराज अपने राम कथा से लोगो को आध्यात्मिक ज्ञान देते है। इनके राम कथा बड़े ही लोकप्रिय है। इनका एक भजन सीता राम सीता राम सीता राम कहिए बड़ा ही प्रसिद्ध हुआ था बहुत से लोगो को यह भजन पसंद आया था, जी हां दोस्तो यह भजन पूज्य राजन जी महाराज का ही है। यह अपने राम कथा की लिए जाने जाते है। राम जी की प्राय भक्त पूज्य राजन जी महाराज अपने आराध्य के विचार और उनके भक्ति का प्रचार जन जन में करते है।